छत्तीसगढ़ के जनप्रतिनिधियों की बढ़ेगी सुरक्षा, इन्हें मिलेगी प्राथमिकता

Security of public representatives of Chhattisgarh will be increased, they will get priority latest news hindi news big news khabargali

रायपुर (khabargali)  प्रदेश के वीआईपी और वीवीआई के साथ ही नक्सल प्रभावित संवेदनशील इलाकों के जनप्रतिनिधियों की सुरक्षा बढ़ेगी। राज्य पुलिस के अधिकारी इसकी कवायद में जुटे हुए हैं। इस समय मुहैया कराई सुरक्षा का रिव्यू करने की तैयारी चल रही है। राज्य पुलिस और प्रोटेक्शन रिव्यू कमेटी द्वारा जल्द ही इसकी समीक्षा की जाएगी। इसके लिए सभी जिलों से जानकारी जुटाई जा रही है। 

इसकी रिपोर्ट के आधार पर सुरक्षा बढ़ाने पर विचार किया जाएगा। बताया जाता है कि ऑपरेशन के चलते नक्सलियों की बौखलाहट को देखते हुए जनप्रतिनिधियों की सुरक्षा को बढ़ाया जाएगा। सुरक्षा रिव्यू कमेटी और इंटेलिजेंस के अफसरों का कहना है कि मुठभेड़ में मारे जाने और पकड़े जाने के डर से लगातार नक्सली सरेण्डर कर रहे है। वहीं, गिनती के बचे हुए नक्सली अपनी जान बचाने के लिए सुरक्षित इलाकों में अंडरग्राउंड हो गए हैं। बता दें कि प्रदेश के 350 जनप्रतिनिधियों को सुरक्षा घेरा उपलब्ध कराया गया है।

फोर्स के दबाव में बैकफुट पर पहुंचे नक्सली बौखलाए

नक्सली संगठन के टॉप लीडरों के मुठभेड़ में मारे जाने और के बाद जनप्रतिनिधियों को निशाना बनाया जा सकता है। खासतौर पर संवेदनशील इलाके के जनप्रतिनिधी को नुकसान पहुंचा सकते हैं। इस संभावित खतरे को देखते हुए वीआईपी बटालियन के जवानों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है, ताकि जरूरत के अनुसार अतिरिक्त सुरक्षा उपलब्ध कराया जा सकें। बता दें कि 2023 में हुए विधानसभा चुनाव के दौरान बस्तर में नक्सलियों के बढ़ते उत्पात को देखते हुए राज्य के 43 बीजेपी नेताओं को सुरक्षा मुहैया कराई। उनकी सुरक्षा में सीआरपीएफ के जवानों को तैनात किया गया था। इसके बाद जरूरत के अनुसार निर्वाचित विधायक और अन्य लोगों को राज्य पुलिस की ओर से सुरक्षा दी गई।

प्रोटेक्शन रिव्यू कमेटी द्वारा जनप्रतिनिधियों को उपलब्ध कराई गई सुरक्षा की नियमित रूप से समय-समय पर समीक्षा की जाती है। इसके लिए फिल्ड में तैनात अफसरों से मिली जानकारी और इंटेलिजेंस की रिपोर्ट और स्वयं आवेदन देने पर अतिरिक्त सुरक्षा दी जाती है।

इनको प्राथमिकता

प्रदेश के निर्वाचित सांसद, विधायक, पूर्व विधायक, अन्य महत्वपूर्ण जनप्रतिनिधियों को प्राथमिकता के आधार पर सुरक्षा घेरा दिया जाएगा। गृह विभाग के अधिकारियों का कहना है कि मंत्रियों और विधायकों को जरूरत के अनुसार सुरक्षा मिलेगी। मंत्रियों और विधायकों के साथ ही अन्य जनप्रतिनिधियों को 1 से लेकर 4 पीएसओ और राज्य पुलिस के जवानों की तैनाती की गई है। वहीं, कैटेगिरी के अनुसार जेड श्रेणी, वाय और एक्स श्रेणी का क्राइटेरिया तय कर सुरक्षा दी गई है।

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