कटघोरा लिथियम और दुर्लभ खनिज (आरईई) ब्लॉक के लिए पसंदीदा बोलीदाता बनकर उभरा
देश का पहला लिथियम ब्लॉक मैकी साउथ माइनिंग प्राइवेट लिमिटेड के नाम
कोरबा के कटघोरा में 250 हेक्टेयर में फैला है लिथियम का भंडार
कोरबा (khabargali) खान मंत्रालय ने सोमवार को कहा कि माइकी साउथ माइनिंग प्राइवेट लिमिटेड ने छत्तीसगढ़ में बिक्री के लिए रखा गया देश का पहला लिथियम ब्लॉक हासिल कर लिया है। दरअसल छत्तीसगढ़ के कोरबा के कटघोरा में लिथियम का बड़ा भंडार मिला है। जमीन के नीचे लिथियम मिलने के बाद से खनन के लिए नीलामी की तैयारी चल रही थी। सोमवार को मैकी साउथ माइनिंग प्राइवेट लिमिटेड ने नीमाली प्रक्रिया में बोली लगाकर लिथियम ब्लॉक को खरीद लिया है। नीलामी की प्रक्रिया पूरी होने के बाद अब मैकी साउथ माइनिंग प्राइवेट लिमिटेड कंपनी यहां खनन का काम जल्द शुरु करेगी।
21 ब्लॉक बिक्री के लिए रखे गए
समारोह के दौरान केंद्रीय कोयला और खान मंत्री जी किशन रेड्डी ने महत्वपूर्ण और रणनीतिक खनिजों की नीलामी के चौथे दौर के शुरूआत की घोषणा की। इसमें 21 ब्लॉक बिक्री के लिए रखे गए हैं। महत्वपूर्ण और रणनीतिक खनिजों की नीलामी के चौथे दौर की शुरुआत के मौके पर ये परिणाम घोषित किए गए। छत्तीसगढ़ में कोरबा के कटघोरा में लिथियम और दुर्लभ खनिज (आरईई) ब्लॉक कंपनी को 76.05 प्रतिशत के नीलामी प्रीमियम पर दिया गया। खान मंत्रालय ने बताया कि माइकी साउथ माइनिंग छत्तीसगढ़ में कटघोरा लिथियम और दुर्लभ खनिज (आरईई) ब्लॉक के लिए पसंदीदा बोलीदाता बनकर उभरी है। पहले दौर में नीलामी के लिए रखे गए छह ब्लॉक के लिए पसंदीदा बोलीदाताओं के नाम इस मौके पर घोषित किए गए। पांच ब्लॉकों के लिए अन्य सफल बोलीदाताओं में अग्रसेन स्पोंज प्राइवेट लिमिटेड, कुंदन गोल्ड माइंस प्राइवेट लिमिटेड, डालमिया भारत रिफ्रैक्टरीज लिमिटेड, सागर स्टोन इंडस्ट्रीज शामिल हैं। अग्रसेन स्पोंज प्राइवेट लिमिटेड ने ओडिशा में दो ब्लॉक हासिल किए। कुंदन गोल्ड माइंस प्राइवेट लिमिटेड ने ओडिशा में एक ग्रेफाइट खदान हासिल की, जबकि डालमिया भारत रिफ्रैक्टरीज लिमिटेड ने तमिलनाडु में ग्रेफाइट ब्लॉक हासिल किया। सागर स्टोन इंडस्ट्रीज ने उत्तर प्रदेश में फॉस्फोराइट ब्लॉक हासिल किया।
250 हेक्टेयर में फैला है कटघोरा में लिथियम का भंडार
कोरबा के गांव घुचापुर कटघोरा के आस पास के 250 हेक्टेयर क्षेत्र में लिथियम पाए जाने की पुष्टि जियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया ने की है। अब इसके लिए केंद्रीय खान मंत्रालय ने 29 नवंबर 2023 को नीलामी की प्रक्रिया शुरु कर दी थी।कॉमर्शियल माइनिंग के तहत खदानों को केंद्र सरकार नीलामी के माध्यम से निजी कंपनी को सौंपती है। कटघोरा के लिथियम ब्लॉक के लिए ओला, वेदांता, जिंदल, श्री सीमेंट, अडाणी समूह, अल्ट्राटेक सीमेंट सहित कई बड़ी कंपनियों ने बोली लगाई थी।अर्जेंटीना की भी एक कंपनी द्वारा बोली में भाग लेने की बात सामने आई थी। नीलामी में सबको पीछे छोड़ते हुए भारत की ही मैकी साउथ माइनिंग प्राइवेट लिमिटेड(MSMPL) ने कटघोरा के लिथियम ब्लॉक को खरीदने में सफलता हासिल की है। जिसका मुख्यालय वेस्ट बंगाल में है।
लिथियम ब्लॉक को दिया जा रहा है कंपोजिट लाइसेंस
कटघोरा के लिथियम आरईई ब्लॉक के लिए कंपोजिट लाइसेंस दिया गया है। इसमें परीक्षण और खनन दोनों का ही अधिकार शामिल है।कटघोरा के साथ ही कश्मीर के रियासी स्थित लिथियम ब्लॉक की भी नीलामी शुरू की गई थी. शुरुआती दौर में इसके लिए समुचित बोलीदार आगे नहीं आए थे। जिससे इसकी ऑनलाइन नीलामी प्रक्रिया को पूर्व में रोकना पड़ा। कटघोरा में देश का पहला लिथियम खदान बनेगा। कटघोरा का लिथियम ब्लॉक देश का ऐसा पहला खनन प्रोजेक्ट होगा जिसके लिए कंपोजिट लाइसेंस दिया गया है।
रोजगार के अवसर पर डीएमएफ से भारी भरकम राशि
लिथियम खदान शुरू होने पर सिर्फ कोरबा ही नही छत्तीसगढ़ और देश में समृद्धि के द्वार खुलेंगे। कटघोरा आधारभूत सुविधाओं से युक्त मैदानी इलाके में है। इसके चलते यहां निवेशकों का रुझान अधिक है। लिथियम खनन शुरू होने के बाद इससे जुड़ी कंपनियां काम शुरू करेंगी।तकनीकी एक्सपर्ट और संसाधनों के विकास के लिए भी लोगों की आवश्यकता होगी। इससे रोजगार के अवसर पैदा होंगे। प्रदेश में विकास के लिए तय राशि, रॉयल्टी और डीएमएफ के लिए भी इससे सहयोग मिलेगा जो करोड़ो में होगा। कुल मिलाकर आने वाले दिनों में न सिर्फ कोरबा बल्कि छत्तीसगढ़ का भाग्य भी चमकेगा।
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