युवाओं में परिवर्तन लाएगा लीड इंडिया फाउंडेशन का प्रशिक्षण कार्यक्रम

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रायपुर (Khabargali) भारत को वैश्विक नेतृत्व का सपना दिखाने वाले पूर्व राष्ट्रपति भारत रत्न डॉ. अब्दुल कलाम ने 2020 तक देश को सक्षम बनाने की बात कही और नारा दिया लीड इंडिया 2020। यूं ही उन्होंने केवल सपना दिखाने की बात नहीं कही थी। यह कहने से पहले हैदराबाद के प्रो. एन.बी. सुदर्शन आचार्य के सहयोग से एक व्यापक योजना तैयार की गई। प्रो. एन.बी. सुदर्शन आचार्य जो हैदराबाद के दर्शनशास्त्र के व्याख्याता रहे हैं, ने  डॉ. कलाम की मंशा के अनुरूप भारत को विश्व नेतृत्व के लिए सक्षम बनाने हेतु स्कूल, कॉलेज के विद्यार्थियों सहित युवाओं, शिक्षकों के लिए सुदर्शन व्यापक योजना तैयार कर भारत रत्न डॉ. अब्दुल कलाम के समक्ष रखा। वृत्ति से वैज्ञानिक डॉ. कलाम ने पहले देश भर में 2 लाख विद्यार्थियों पर योजना का परीक्षण किया। तब फिर भारत रत्न महामहिम डॉ. कलाम ने देश को 2020 तक भारत को विश्व का नेतृत्व करने का स्वप्न दिखाया। इस प्रकार भारत के विश्व नेता बनने का मार्ग प्रशस्त करने के लिए एक लीड इंडिया फाउंडेशन का प्रशिक्षण कार्यक्रम अस्तित्व में आया। डॉ. कलाम ने देश को दिए अपने संबोधन में कहा था “लीड इंडिया का यह प्रशिक्षण कार्यक्रम एक मिशन है। इससे मुझे आश्वस्ति मिलती है कि यह कार्यक्रम भारत के युवाओं में परिवर्तन लाएगा। भारत के विकसित देश बनने के लक्ष्य को प्राप्त करने में यह सहायक होगा।’’

प्रो. सुदर्शन आचार्य ने डॉ. कलाम के दृष्टिकोण को ध्यान में रखते हुए अनुसंधान के जरिए शिक्षा तथा व्यवहार में समानता लाने के ध्येय से व्यापक योजना को नाम दिया गया ‘आप बढ़ो, देश को बढ़ाओ’। पूर्व राष्ट्रपति डॉ. अब्दुल कलाम के निर्देशन व देखरेख में इस योजना का देश के अन्य भागों सहित आंध्र प्रदेश के कई जिलों में भी परीक्षण किया गया। इस सफल परीक्षण के पश्चात डॉ. कलाम ने आज़ादी की 60वीं वर्षगाठ पर कहा- ‘‘लीड इंडिया 2020 आज़ादी के बाद का दूसरा मिशन है।’’ उन्होंने 2013 में फिर से घोषित किया कि ‘‘यह एक सुपरीक्षित तथा सिद्ध राष्ट्रीय आंदोलन है।’’ इसके बाद आंध्र प्रदेश सरकार तथा जनरल इलेक्ट्रिक, आईबीएम, कैपिटल आईक्यू, हीटरो ड्रग्स, शांता बायोटिक्स आदि के सहयोग से 30 लाख से अधिक छात्रों को प्रशिक्षित किया जा चुका है।

क्या है यह प्रशिक्षण

इस प्रशिक्षण कार्यक्रम के अंतर्गत स्कूल तथा कॉलेजों में तीन दिवसीय प्रशिक्षण चलाया जाता है। इसमें लीड इंडिया से प्रशिक्षित प्रशिक्षक, अनुभवी मास्टर ट्रेनर्स के माध्यम से लीड इंडिया क्लब की स्थापना चिह्नित जिलों के स्कूलों में की जाती है।

निरंतरता

प्रशिक्षण उपरांत प्रशिक्षकों तथा मास्टर ट्रेनर्स के सहयोग से निरंतर विभिन्न स्तर पर गतिविधियों का संचालन किया जाता है। इसके लिए प्रशिक्षित छात्र तथा स्कूल के एक शिक्षक अथवा प्रिंसपल के साथ मिल कर अलग अलग समूह तैयार किये जाते हैं। समूह इस प्रकार तैयार किए जाते हैं- अध्ययन तथा वैज्ञानिक दृष्टिकोण विकास समूह, अनुशासन तथा नागरिकता समूह, साहित्य एवं सांस्कृतिक समूह, स्वच्छता एवं स्वास्थ्य समूह, खेल समूह, सामुदायिक विकास समूह, संरक्षण समूह आदि। इस प्रकार छात्रों के समग्र विकास की दृष्टि से निरंतर कार्यक्रम चलाए जाते हैं। इस प्रकार छात्रों में संप्रेषण क्षमता, अनुशासन, नागरिक बोध, पर्यावरण, विकास को ले कर सम्यक दृष्टिकोण विकसित किया जाता है। इस प्रकार वे आगे चल कर देश व समाज के जिम्मेदार नागरिक के रूप में आगे बढ़ते हैं।

प्रशिक्षण का प्रभाव

आज के विद्यार्थी कल के नागरिक होंगे। उपरोक्त समूहों के माध्यम से छात्रों में शैक्षिक-सामाजिक दृष्टिकोण विकसित होता है। लीड इंडिया से प्रशिक्षित कुछ प्रमुख नामों की बात करें, तो बैंडमिंटन प्लेयर पी.वी. सिंधु, दृष्टिबाधित भोला श्रीकांत जिसे रतन टाटा का संरक्षण-सहयोग प्राप्त हुआ, डॉ. नवीन करुण्या जिन्होंने सबसे कम उम्र में जेएनयू से पीएचडी की डिग्री प्राप्त की है। इसके अलावा इस कार्यक्रम के माध्यम से प्रशिक्षित अनेक लोग वर्तमान में शिक्षा, प्रशासनिक सेवा के क्षेत्र में महत्वपूर्ण भूमिका निबाह रहे हैं।

मान्यता

हाल ही में विस्तृत मूल्यांकन एवं परीक्षण के पश्चात भारत सरकार के मानव संसाधन मंत्रालय द्वारा मान्यता प्रदान की है। इससे ‘आप बढ़ो, देश को बढ़ाओ’ कार्यक्रम को देश भर में विस्तार दिया जा सकेगा।

रायपुर में कार्यक्रम

पत्रकार एवं समाजसेवी आदेश ठाकुर  की पहल पर मई 2018 में रायपुर में एक प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया गया। लीड इंडिया के राष्ट्रीय समन्वयक सुब्रत बैनर्जी तथा उपाध्यक्ष, अनुसूचित जनजाति आयोग के संयोजन में आदिवासी छात्रों के लिए चार दिन का प्रशिक्षण कार्यक्रम चलाया गया। इस प्रशिक्षण में रायपुर, महासमुंद, राजनांदगांव, बालोद, धमतरी, आरंग के 70 से अधिक स्कूली छात्रों ने भाग लिया था। प्रशिक्षण कार्यक्रम का संपादन हैदराबाद, अहमदाबाद के रिसोर्स पर्सन तथा गुजरात, बिहार, ओडिशा के मास्टर ट्रेनर्स ने किया था। कार्यक्रम की सफलता का अनुमान इसी तथ्य से लगाया जा सकता है कि प्रशिक्षण के समापन पर छात्रों से पूछा गया कि क्या वे कार्यक्रम की अवधि और बढ़वाना चाहते हैं, तब समवेत स्वर में उत्तर मिला- हां। यह भी कि प्रशिक्षण के आरंभ में जो बात करने से भी डर रहे छात्रों ने समापन पर अपने विचारों को अंग्रेजी-हिंदी भाषा में बेझिझक प्रस्तुत किया।

  • छत्तीसगढ़ में लीड इंडिया प्रशिक्षण आवश्यक
  • छात्रों में कौशल विकास तथा भविष्य के सुदृढ़, सद्चरित्र एवं जिम्मेदार नागरिक तैयार करने के लिए छत्तीसगढ़ में भी प्रदेश स्तर पर इस प्रशिक्षण कार्यक्रम का क्रियान्वयन अपेक्षित है। छत्तीसगढ़ के एनजीओ, शासकीय एजेंसी तथा अन्य संस्थाओं के माध्यम से प्रदेश में लीड इंडिया के प्रशिक्षण का आयोजन किया जाना प्रदेश-देश को वैश्विक परिदृश्य के अनुरूुप तैयार करने के लिए तथा भविष्य की चुनौतियों का सामना करने के लिए अत्यंत आवश्यक प्रतीत होता है। विशेषकर छत्तीसगढ़ के उन क्षेत्रों पर तो यह नितांत आवश्यक है, जहां अत्यधिक शैक्षिक पिछड़ापन है और बच्चों का आईक्यू स्तर कमतर है-  जितेन्द्र गोलछा, रायपुर