कवर्धा (खबरगली) भारतीय महिला क्रिकेट टीम ने दक्षिण अफ्रीका को 52 रनों से हराकर आईसीसी महिला वर्ल्ड कप का खिताब जीतकर इतिहास रच दिया है। यह जीत न सिर्फ भारतीय क्रिकेट के लिए, बल्कि पूरे देश के लिए गौरव का क्षण है, क्योंकि यह महिला क्रिकेट के 52 वर्षीय वर्ल्ड कप इतिहास में भारत की पहली स्वर्णिम सफलता है।
इस शानदार उपलब्धि में छत्तीसगढ़ के कवर्धा जिले की बेटी आकांक्षा सत्यवंशी की भी महत्वपूर्ण भूमिका रही, जो टीम के साथ फिजियोथैरेपिस्ट और स्पोर्ट्स साइंस विशेषज्ञ के रूप में जुड़ी रहीं। आकांक्षा सत्यवंशी भारतीय महिला टीम के फिटनेस और रिहैबिलिटेशन (रिकवरी) कार्यक्रम की प्रमुख विशेषज्ञों में से एक रहीं। उन्होंने पूरे टूर्नामेंट के दौरान खिलाड़ियों की चोटों की रोकथाम, फिजिकल फिटनेस और मानसिक एकाग्रता बनाए रखने में अहम योगदान दिया। टीम के लगातार उत्कृष्ट प्रदर्शन के पीछे उनका वैज्ञानिक दृष्टिकोण और प्रोफेशनल अनुभव निर्णायक रहा।
उनकी मेहनत और समर्पण के परिणामस्वरूप भारतीय टीम पूरे टूर्नामेंट में ऊर्जा, एकजुटता और स्थिरता के साथ खेली, जिसका नतीजा विश्वविजेता बनने के रूप में सामने आया। कवर्धा के लोगों ने आकांक्षा की इस उपलब्धि पर प्रसन्नता जताई है। स्थानीय खेल प्रेमियों का कहना है कि उनकी मेहनत, संघर्ष और लगन ने यह साबित किया है कि छोटे शहरों की बेटियां भी देश के लिए स्वर्णिम इतिहास रच सकती हैं।
पहले भी रही हैं राष्ट्रीय टीमों से जुड़ी
आकांक्षा सत्यवंशी पूर्व में छत्तीसगढ़ महिला क्रिकेट टीम और भारतीय अंडर-19 महिला क्रिकेट टीम के साथ भी कार्य कर चुकी हैं। खेल विज्ञान और पुनर्वास चिकित्सा में उनकी विशेषज्ञता ने उन्हें खेल जगत में एक अलग पहचान दिलाई है। खेल के प्रति उनके समर्पण और अनुशासन ने उन्हें न केवल एक कुशल फिजियोथैरेपिस्ट बनाया है, बल्कि महिला क्रिकेट के क्षेत्र में प्रेरणास्रोत भी। आकांक्षा आज उन हजारों बेटियों के लिए प्रेरणा हैं जो खेलों में अपने भविष्य का सपना देख रही हैं। उन्होंने यह सिद्ध किया है कि दृढ़ निश्चय, मेहनत के साथ किसी भी स्तर पर सफलता हासिल किया जा सकता है।
छत्तीसगढ़ के उपमुयमंत्री विजय शर्मा ने आकांक्षा सत्यवंशी की इस उपलब्धि पर उन्हें बधाई दी और कहा कि उन्होंने न केवल कवर्धा बल्कि पूरे प्रदेश को गौरवान्वित किया है। उन्होंने कहा कि भारतीय महिला क्रिकेट टीम की इस ऐतिहासिक सफलता में कवर्धा की बेटी आकांक्षा की भूमिका प्रेरणादायी है। उनके समर्पण और पेशेवर निष्ठा ने इस जीत को संभव बनाया है। पूरा छत्तीसगढ़ आज उनकी इस उपलब्धि पर गर्व महसूस कर रहा है।
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