कथावाचक अंधविश्वास न फैलाएं : डॉ दिनेश मिश्र

Narrator, Superstition, Dr. Dinesh Mishra, President of Andh Shraddha Nirmulan Samiti, Miracles, Witchcraft, Ghosts, Chhattisgarh, News, khabargali

अंध श्रद्धा निर्मूलन समिति के अध्यक्ष ने कहा- चमत्कार,जादू टोना ,भूत प्रेत जैसी बातों का अस्तित्व नहीं

रायपुर (khabargali) छत्तीसगढ़ अंध श्रद्धा निर्मूलन समिति के अध्यक्ष ने एक प्रेस रिलीज जारी कर कहा कि चमत्कार, जादू,टोना, भूत प्रेत जैसी मान्यताओं का कोई अस्तित्व नहीं है .आम लोगों को इस प्रकार अंधविश्वास में नहीं फँसना चाहिए.

डॉ . मिश्र ने कहा तथाकथित चमत्कार के दावे बनावटी होते है.ऐसा कोई भी व्यक्ति नहीं है जिसे किसी भी प्रकार से दूसरे के विषय,में जादू से जानकारी मिल सके अलग अलग माध्यम से प्राप्त कुछ सूचनाएं चमत्कार के रूप में प्रस्तुत की जाती है यह एक प्रकार की ट्रिक ही है ,जैसे जादूगर अपने शो में अलग अलग प्रकार के खेल दिखाते हैं, जैसे रुपये दुगने करने, किसी व्यक्ति के दो टुकड़े करने, फिर जोड़ देने, ताजमहल को गायब करने जैसे करतब पर वे इसे सिद्धि नहीं कहते सिर्फ एक मनोरंजन के तौर पर यह भी इनसे किसी को कोई लाभ नहीं होगा .क्योंकि ऐसे चमत्कारों न ही किसी का भला हो सकता है और न ही कोई व्यापक जनहित के काम.क्योकि यदि चमत्कारों से ही देश के कार्य सम्भव होते तो सरकार को पंचवर्षीय योजनाएं, नहीं बनानी पड़ती और न ही शिक्षा, ऊर्जा, रोजगार,रक्षा, चिकित्सा की समस्याओं के लिये ,विकास के लिए योजना बना कर काम करना पड़ता .

डॉ मिश्र ने कहा कि जब चिकित्सा विज्ञान का आविष्कार नहीं हुआ था तब बीमारियों को जादू टोने का कारण और मानसिक बीमारियों को भूत प्रेत के होने के कारण माना जाता था लेकिन जब से चिकित्सा विज्ञान का आविष्कार हुआ है नए-नए मेडिकल कॉलेज अस्पताल खुले हैं , बीमारियों के , अलग-अलग कारण तथा उसके हिसाब से इलाज ढूंढे गए हैं और अभी भी जारी है . जैसे कोरोना के समय मे न ही कोई बाबा काम आया न उनका चमत्कार .डॉक्टरों, अस्पतालों, दवाओं, वैक्सीन जैसी कोरोना नियंत्रण में आया. उसी प्रकार कुछ मानसिक बीमारियों को अंधविश्वास के कारण लोग भूत-प्रेत एक का वजह मानते थे , तथा उसके लिए झाड़ - फूंक कराने जाते थे उसका भी उपचार आजकल मनो चिकित्सकों द्वारा किया जाता है जो कि व्यक्ति की बीमारी और उसके लक्षण के आधार पर तय होता है.

डॉ मिश्र ने कहा कि किसी बीमार व्यक्ति को जादू टोना करने ,भूत आने की बात कह कर भ्रमित करना, प्रेतों की सेना, आदि काल्पनिक बाते अविश्वसनीय ही नही बल्कि हास्यास्पद भी हैं. क्योकि जादू -टोने के शक में महिलाओं को टोनही कह कर प्रताड़ित करने और मार डालने के हजारों मामले प्रति वर्ष देश भर से सामने आते है. इस अंधविश्वास से लोगों को बाहर निकालने की जरूरत है न कि उनके चमत्कार, जादू टोना,भूत प्रेत जैसे भ्रम में दाल कर अंधविश्वास बढ़ाने की. भारत सरकार के ड्रग एन्ड मैजिक रेमेडी एक्ट के अंतर्गत यह सब अपराध है .

डॉ दिनेश मिश्र ने कहा हर व्यक्ति को अपने धर्म के प्रचार, प्रसार कथा पढ़ने, प्रवचन देने का अधिकार है ,पिछले कुछ दिनों से देखा जा रहा है कि कथावाचक कथा पढ़ने से साथ, टोटके बाजी, चमत्कार, बीमारियों के इलाज के नाम पर भी भ्रम उत्पन्न कर रहे हैं . लोगों में चमत्कार, जादू टोने, भूत प्रेत के नाम पर अंधविश्वास फैलाना उचित नहीं है ऐसे मामलों में प्रशासन को संज्ञान लेकर आवश्यक कार्यवाही करनी चाहिए.