प्रेरक: एक साथ हजार लोगों ने किया 24 घंटे का ‘डिजिटल उपवास’

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पर्युषण पर्व के दौरान जैन समुदाय के सदस्यों ने रखा इंटरनेट मुक्त उपवास

रायसेन (khabargali) समाज में स्मार्ट फोन के बढ़ते इस्तेमाल के चलते आजकल हर व्यक्ति, बच्चे, युवा और महिलाओं में स्मार्ट फोन की लत लगी हैं उससे होने वाले स्वास्थ्यगत और मानसिक नुकसान से सभी अनजान हैं। सोशल मीडिया, ऑनलाइन गेमिंग और पॉर्नोग्राफी की लत इतनी आसानी से नहीं छूट पाएगी , इसके लिए दृढ़ इच्छाशक्ति की जरूरत है। मोबाइल और इंटरनेट की चकाचौंध ने पूजा और भक्ति को भी डिजिटल बना दिया है । मोबाइल भक्ति और साधना में दखल देता है और इनसे भक्ति से व्यक्ति भटक जाता है। ऐसे में जैन समाज ने पर्युषण पर्व के उपवास के लिए नया तरीका अपनाया है जिसे इंटरनेट मुक्त उपवास नाम दिया है। उनका दावा है कि इससे मोबाइल की लत छूट जाएगी।

24 घंटे के लिए मोबाइल जमा किया

मध्य प्रदेश के रायसेन जिले में जैन समुदाय के सदस्य यहां जारी पर्युषण पर्व के दौरान इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों और इंटरनेट से दूर रहकर अब 24 घंटे का अनोखा ‘डिजिटल उपवास’ कर रहे हैं। इस अभ्यास के तहत समुदाय के लगभग 1,000 सदस्यों ने राज्य की राजधानी से लगभग 120 किलोमीटर दूर बेगमगंज शहर के मंदिर में 24 घंटे के लिए अपने स्मार्टफोन जमा कर दिए।

लती लोगों को खासकर जोड़ा

जैन समाज के अध्यक्ष अक्षय जैन ने बताया कि इसमें भी ज्यादातर उन लोगों को जोड़ा गया है जो मोबाइल के लती हैं। इसके लिए जैन समाज ने यह अनोखी पहल शुरू की है। इस उपवास के दौरान आपको मोबाइल फोन, लैपटॉप ओर टीवी जैसी चीजों से दूरी बनाकर असली दुनिया का अनुभव लेना होता है। इस अनोखे उपवास का एक मात्र उद्देश्य यही है कि लोग अपने मोबाइल की लत को कैसे छोड़ सकते हैं।

घरवालों, दोस्तों और ऑफिस मेसेज के जरिए पहले ही सूचित किया

व्रत धारी अक्षय जैन ने अपने दोस्तों, ऑफिस और घर पर पहले ही मेसेज कर दिया ताकि अगर अगली सुबह 10 बजे तक वह किसी से कॉन्टैक्ट न कर पाएं, तो कोई परेशान न हों। इसके बाद उन्होंने जैन मंदिर में अपना मोबाइल जमा कर उपवास शुरू किया। 24 घंटे के इस उपवास की वजह से वह इस दिन काफी फ्री रहे। श्री जैन ने बताया कि पहले एक दिन का उपवास उन्होंने बिना किसी को बताए किया ओर जब उन्हें अच्छा लगा तो समाज के युवाओं से उन्होंने यह बात की ओर जिसके बाद उनके समाज के कई लोग भी ई उपवास के लिए तैयार हो गए।