राजस्थान में जारी सियासी उठापटक के बीच फोन टैपिंग मामले में भाजपा व कांग्रेस आमने -सामने

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नई दिल्ली/जयपुर भोपाल/ रायपुर (खबरगली) राजस्थान में जारी सियासी उठापटक के बीच फोन टैपिंग मामले में भाजपा और कांग्रेस आमने सामने हैं। केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी ने कहा कि राजस्थान की समस्याओं और विकास पर मुख्यमंत्री का कोई ध्यान नहीं है उनका ध्यान अपनी सरकार बचाने पर है। राजस्थान में जारी राजनीतिक उथल-पुथल के बीच शनिवार को भारतीय ट्राइबल पार्टी (BTP) ने अशोक गहलोत की सरकार को अपना समर्थन दिया। पार्टी ने अपना समर्थन पत्र सौंपा, जिसमें उनकी मांगें भी शामिल हैं। बीटीपी के राज्य में दो विधायक हैं। इसके बाद सीएम गहलोत ने जयपुर के राजभवन में राज्यपाल कलराज मिश्र से मुलाकात की और उन्हें एक पत्र सौंपा जिसमें पुष्टि की गई कि बीटीपी के दो विधायक उनकी सरकार का समर्थन कर रहे हैं।

केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी बोले, गजेंद्र शेखावत का ऑडियो टेप से कोई लेना देना नहीं

ऑडियो टेप मामले पर केंद्रीय मंत्री कैलाश चौधरी ने कहा कि गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा है कि ये ऑडियो टेप उनका नहीं है। गजेंद्र जी का इस ऑडियो से कोई लेना देना नहीं है, मैं स्वयं गजेंद्र जी की आवाज़ को अच्छे से जानता हूं ये गजेंद्र जी की आवाज़ नहीं है। उन्‍होंने आगे कहा कि अशोक गहलोत अपने विधायकों को होटल में लेकर बैठे हैं। राजस्थान की समस्याओं और विकास पर मुख्यमंत्री का कोई ध्यान नहीं है, उनका ध्यान अपनी सरकार बचाने पर है, इनकी सरकार तो निश्चित रूप से जानी है आज नहीं तो कल जाएगी।  

अजय माकन ने भाजपा पर निशाना साधा

 मामले पर कांग्रेस के नेता अजय माकन ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि भाजपा शासित राज्यों की पुलिस राजस्थान पुलिस को भंवरलाल शर्मा और विश्वेंद्र सिंह के वॉयस सैंपल क्यों नहीं लेने दे रही है? इससे पहले उन्होंने गजेंद्र सिंह शेखावत पर निशाना साधते हुए कहा, 'अब जब गजेंद्र सिंह शेखावत का नाम एफआइआर में है और उनकी आवाज की ऑडिटोटेप में पहचान हुई है, तो वे केंद्रीय मंत्री का पद क्यों संभाल रहे हैं? कांग्रेस मांग करती है कि या तो वे इस्तीफा दे या उन्हें हटा दिया जाए, ताकि वे जांच को प्रभावित न कर सके। मैंने सुना कि वो कह रहे हैं कि ऑडियो में आवाज उनकी नहीं बल्कि किसी और गजेंद्र सिंह की है। यदि ऐसा है, तो उन्हें अपनी वॉयस सैंपल देना चाहिए और जांच पूरी होने तक पद से हट जाना चाहिए। '

दिग्विजय की पायलट को सलाह, कहा- कि वह देश की सबसे पुरानी राजनीतिक पार्टी को न छोड़ें

राजस्थान में जारी सियासी उठापटक के लिए भाजपा को जिम्मेदार ठहराते हुए कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने सचिन पायलट  से कहा कि वह देश की सबसे पुरानी राजनीतिक पार्टी को न छोड़ें। मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने कहा कि सचिन पायलट के लिए कांग्रेस में उज्जवल भविष्य है, इसलिए उन्हें पार्टी छोड़ भाजपा  में गए पूर्व केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया  का अनुकरण नहीं करना चाहिए। दिग्विजय ने कहा, 'राजस्थान में चल रहे सियासी संकट के पीछे भाजपा का हाथ है.'

न्योता नहीं देंगे, लेकिन आने पर पायलट का स्वागत

राजस्थान बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनिया ने कहा है कि ये कांग्रेस का अंदरुनी झगड़ा है और इसमें बीजेपी कहीं नहीं है। सचिन पायलट को बीजेपी में शामिल करने के सवाल पर पूनिया ने कहा कि हम किसी को न्योता देने नहीं जा रहे हैं अगर कोई आता है तो उसका स्वागत है।

 षंडयंत्र हुआ बेनकाब.. केंद्रीय मंत्री शेखावत को किया जाए बर्खास्त : शैलेश नितिन त्रिवेदी

इधर छत्तीसगढ़  कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष शैलेश नितिन त्रिवेदी ने एक प्रेस नोट जारी कर कहा कि एंटी करप्शन ब्यूरो’ की FIR से बेनकाब हुई राजस्थान सरकार ..भाजपा ही कर रही ‘जनमत के अपहरण’ की साजिश । इनका घिनौना षंडयंत्र  बेनकाब हो गया है इसलिए केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत को फौरन बर्खास्त किया जाना चाहिए। कांग्रेस संचार विभाग के अध्यक्ष शैलेश नितिन त्रिवेदी ने कहा है कि राजस्थान के घटनाक्रम को लेकर हमारे कुछ प्रश्न हैं -

1.     जब श्री गजेंद्र शेखावत, केंद्रीय मंत्री द्वारा यह कहा गया कि तथाकथित ऑडियो टेप में आवाज उनकी नहीं। तो फिर श्री गजेंद्र सिंह शेखावत सामने आकर अपना वॉईस सैंपल देने से इंकार क्यों कर रहे हैं? ऐसे में भ्रष्टाचार निरोधक कानून में मामला दर्ज होने के बाद, श्री गजेंद्र सिंह शेखावत को अपने पद से बर्खास्त क्यों नहीं किया जा रहा? क्या यह प्रधानमंत्री का राजधर्म नहीं कि जाँच पूरी होने तक श्री गजेंद्र सिंह शेखावत को पदमुक्त करें, ताकि वो जाँच पर प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से प्रभाव न डाल पाएं?
2.     भाजपा की हरियाणा और दिल्ली की पुलिस, श्री गजेंद्र सिंह शेखावत, श्री भंवर लाल शर्मा व श्री विश्वेंदर सिंह के वॉईस सैंपल लेने से क्यों रोक रही है? अगर ये तीनों दोषी नहीं, तो सामने आकर वॉईस सैंपल देने में क्या खतरा है?
3.     क्या केंद्रीय भाजपा सरकार सीबीआई की धमकी इसलिए दे रही है कि विधायक खरीद घोटाले के तार में अन्य कई आला पदों पर बैठे केंद्र सरकार के लोग शामिल हैं व निष्पक्ष जाँच उनका चेहरा बेनकाब कर देगी?
4.     क्या देश को विश्वास में नहीं लेना चाहिए कि काला धन कहां से आ रहा है, यह काला धन कौन मुहैया करवा रहा है, हवाला से कैसे ट्रांसफर किया जा रहा है, किस किस को दिया जा रहा है? क्या राजस्थान सरकार गिराने के इस काला धन आदान प्रदान में लोगों का चेहरा बेनकाब नहीं होना चाहिए?
5.     अगर भाजपा की कोई भूमिका नहीं, तो केंद्र सरकार से लेकर हरियाणा सरकार, इंकम टैक्स, ईडी, हरियाणा पुलिस, दिल्ली पुलिस कांग्रेस विधायकों को विशेष सुरक्षा चक्र देने तथा राजस्थान पुलिस की जाँच से अलग रखने को इतनी मशक्कत क्यों कर रहे हैं?