
रायपुर (khabargali) राज्य सरकार द्वारा रजिस्ट्री के नए नियमों और सपत्तियों के पंजीयन में शुरू किए गए 10 क्रांतिकारी परिवर्तनों पर सोमवार को कलेक्ट्रेट सभाकक्ष में कार्यशाला हुई। कार्यशाला में खुद राजस्व मंत्री टंकराम वर्मा ने नई सुविधाओं और तकनीकों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि समय की जरूरत के हिसाब से आमजनों की सुविधा के लिए बनाए गए हैं। रजिस्ट्री के नए नियमों से फर्जीवाड़े में रोक लगेगी। बंधक जमीनें नहीं बिक पाएंगी और कोई भी दूसरा आदमी किसी और की जगह पर खड़े होकर जमीनों की रजिस्ट्री नहीं करा सकेगा।
राजस्व मंत्री ने कहा कि पंजीयन विभाग में नई सुविधाओं के लिए तकनीक का उपयोग कर लोगों को स्वयं रजिस्ट्री ऑफिस जाकर बायोमेट्रिक्स द्वारा आधार सत्यापन कराना होगा। उन्होंने बताया कि नई सुविधाओं में जमीन के रेकॉर्ड को आधार कार्ड से जोड़ने का भी काम किया जा रहा है। सरकार सुगम ऐप का संचालन कर आमजनों को जमीनों की खरीदी-बिक्री की आसान सुविधा दे रही है। इ
जियो रेफरेंसिंग का काम तेजी हो रहा
राजस्व मंत्री ने सभी राजस्व रेकॉर्डों को डिजिटलाइज करने की प्रक्रिया के बारे में भी बताया। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने पूर्ववर्ती नियम को परिवर्तित करते हुए त्रुटि सुधार का अधिकार अब एसडीएम से छीनकर तहसीलदारों को दे दिया है। राज्य में जमीनों की जियो रेफरेंसिंग का काम तेजी से किया जा रहा है। इसके पूरा हो जाने पर सीमा विवाद खत्म होंगे।
भूमि अधिग्रहण के मामले पर कड़े नियम
उन्होंने यह भी बताया कि अब राज्य या केन्द्र सरकार की किसी भी परियोजना के लिए भूमि अधिग्रहण के मामले पर कड़े नियम बनाए जा रहे हैं। परियोजना के प्रस्तावित होने के समय से ही उस क्षेत्र में जमीनों की खरीदी-बिक्री, सीमांकन-बटांकन सभी पर रोक लगा दी जाएगी।
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