
विधायक अटल श्रीवास्तव को पार्टी से बाहर करने की हुई अनुशंसा
रायपुर (खबरगली) छत्तीसगढ़ में सालभर के भीतर कांग्रेस की चौथी बड़ी हार हुई है। करारी हार के बाद कांग्रेस में खदबदाहट मची हुई है अब या तो पार्टी से इस्तीफा दे रहे हैं या हार की जिम्मेदारी तय करने की मांग कर रहे हैं। हार से हताश कांग्रेसियों का सोशल मीडिया पर गुस्सा फूट रहा है। पोस्ट करते हुए कोई खुलासे की दे रहा धमकी तो कोई शहर अध्यक्ष से इस्तीफा मांग रहा है। साथ ही वरिष्ठ नेताओं से हार की जिम्मेदारी को लेकर सवाल पूछे जा रहे हैं। वहीं हार से महिला कार्यकर्ताओं की उपेक्षा पर भी गुस्सा फूट रहा है। पूर्व विधायक कुलदीप जुनेजा ने प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज पर तीखा हमला बोलते हुए उनसे इस्तीफा मांगा तो पीसीसी की ओर से आज कारण बताओ नोटिस जारी हो गया है।
प्रभारी महामंत्री संगठन मलकीत सिंह गैदू के हवाले से जारी नोटिस में कहा गया है कि प्रदेश संगठन के किसी निर्णयों के विषय में अपनी बात पार्टी फोरम में रखने के बजाय मीडिया में अनर्गल बयानबाजी का मामला संज्ञान में आया है। इसे अनुशासनहीनता के दायरे में मानते हुए तीन दिन के भीतर जवाब मांगा गया है।
इधर बिलासपुर शहर एवं जिला कांग्रेस कमेटी ने विधायक अटल श्रीवास्तव को पार्टी से बाहर करने की अनुशंसा कर दी है। अटल श्रीवास्तव ने दरअसल ग्रामीण अध्यक्ष विजय केशरवानी को कल पूर्व उपमुख्यमंत्री टी एस सिंहदेव के सामने चपरासी कह दिया था। अटल श्रीवास्तव ने ग्रामीण अध्यक्ष विजय केशरवानी पर सार्वजनिक टिप्पणी करते हुए कहा कि तुमने मेरे सीने में छुरा घोंपा है। साथ ही उन्होंने मीडिया में बयान दिया कि चपरासी कलेक्टर को निकल रहे हैं। माना गया है कि यह बात उन्होंने नगर निगम और पंचायत चुनाव में कांग्रेस पार्टी के अधिकृत प्रत्याशियों के खिलाफ भीतरघात एवं खुलाघात करने वालों को संगठन द्वारा निष्कासित किये जाने के सन्दर्भ में नाराज होकर कही है। श्री श्रीवास्तव के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई करने और निष्कासन करने के लिए प्रदेश कांगे्रस कमेटी को पत्र भेजा है। इस चिट्ठी के बाद कांग्रेस में मचा घमासान तेज होता दिख रहा है। राजनांदगांव जिलाध्यक्ष भागवत साहू ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया है उन्होने अपने ही विधायक व पूर्व महापौर पर षडयंत्र का आरोप लगाया है।
वहीं पूर्व विधायक कुलदीप जुनेजा तो पीसीसी अध्यक्ष दीपक बैज की कार्यशैली पर सवाल उठाते हुए कह दिया है कि कांग्रेस नहीं बल्कि मौजूदा संगठन चुनाव हारा है। आने वाले दिनों में यह घमासान और तेज होगा। पूर्व विधायक जुनेजा ने कहा कि कांग्रेस नहीं, बल्कि मौजूदा संगठन चुनाव हारा है। उन्होंने आरोप लगाया कि निर्दलीय प्रत्याशियों को समायोजित करने में पार्टी पूरी तरह विफल रही। पोलिंग खत्म होने के बाद 18 लोगों को प्रवेश दिया गया, यह किसके कहने पर हुआ? जुनेजा ने यह सवाल उठाते हुए इस फैसले को हार की बड़ी वजह बताया।उन्होंने प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज पर तीखा हमला बोलते हुए कहा, न तो उन्होंने संगठन पर पकड़ बनाई, न ही कोई ठोस काम किया। उनकी कार्यप्रणाली से कोई भी खुश नहीं है। जुनेजा ने मांग की कि संगठन में तुरंत बदलाव किया जाए और नए अध्यक्ष की नियुक्ति हो। चार चुनावों में हार के बावजूद पद से चिपके रहना शर्मनाक है। उन्होंने कहा, नैतिकता नाम की भी कोई चीज होती है, दीपक बैज को अपने पद से इस्तीफा देना चाहिए।
दूसरी ओर राजनांदगाव जिले के कांग्रेस के जिलाध्यक्ष भागवत साहू ने अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया है। भागवत साहू, साहू समाज के भी जिलाध्यक्ष हैं।भागवत साहू ने प्रेस कांफ्रेंस कर अपने ही पार्टी के नेताओं पर भीतरघात का आरोप लगाया है। उन्होंने जिला पंचायत चुनाव में डोंगरगांव विधायक दलेश्वर साहू, हेमा देशमुख पर षडयंत्र करने का आरोप लगाया है। भागवत साहू ने कांग्रेस मुक्त साहू समाज की घोषणा की है। क्षेत्र क्रमांक 3 से भागवत साहू ने जिला पंचायत चुनाव लड़ा था। लेकिन वो कांग्रेस के बागी अंगेश्वर देशमुख से जिला पंचायत का चुनाव हार गये। उन्होंने कहा कि उनकी हार की वजह डोंगरगढ़ विधायक हर्षिता बघेल और डोंगरगांव विधायक दलेश्वर साहू और पूर्व कांग्रेस जिला अध्यक्ष नवाज खान है।इन सभी ने कांग्रेस से अधिकृत प्रत्याशी खिलाफ काम किया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस के अंदरुनी भीतरी घात के चलते उनकी हार हुई है, इसलिए वो अपना इस्तीफा दे रहे हैं।

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